भैरवगढ़ में 24वां नाम यज्ञ दूसरे दिन में पहुंच गया है। हजारों श्रद्धालुओं ने किया अरणा प्रसाद का सेवन।

रायगढ़ा जिले के मुनिगुड़ा ब्लॉक अंतर्गत भैरबगढ़ गांव में नाम यज्ञ महादंबरा के दूसरे दिन चौबीस रक्षक मिले। इस नाम यज्ञ वटघ के लिए सबसे पहले गांव के पास सोक्ता नहर से अनुष्ठान वध के रूप में पूजा अर्चना के बाद गंगाजुजू मंत्र का जाप किया जाता है और पूजा मंडप के चारों ओर 11 कला मटिया कला की परिक्रमा की जाती है। और फिर पूजा मंडप में नाम यज्ञ संकृतन पुरोहित शुरू होता है। यह चौबीसी गावत नाम यज्ञ पिछले 11 तारीख को शुरू हुआ था और आज दूसरे दिन पहुंच गया। इससे पहले चोबिशी गावत, अस्त गावत नाम संकीर्तन यज्ञ किया जाता था, लेकिन अब इस वर्ष देखा जा रहा है कि चोबिशी गावत किया जा रहा है। इसमें विभिन्न जिलों से संकीर्तन मंडलियों की 16 टीमों ने भाग लिया है. नाम यज्ञ को देखने के लिए विभिन्न ग्रामीण क्षेत्रों से हजारों श्रद्धालु आते हैं। इस नाम यज्ञ की रात्रि मंगलवार से प्रारंभ होकर यह चौबीस घड़ी नाम यज्ञ शुक्रवार की समाप्ति तक किया जाता है। देखा गया है कि समिति विभिन्न गांवों से आये संकीर्तन मंडली के भक्तों को अरणा प्रसाद भी उपलब्ध करा रही है. प्राचीन काल से प्रत्येक वर्ष गाँव में आठ पहरेदारों से शुरू होकर आज भैरबगढ़ गाँव में चौबीस पहरेदार हैं जो यज्ञ को बड़ी धूमधाम से मनाते हैं। साथ ही हिंदू धर्म की पारंपरिक परंपरा को बरकरार रखने और गांव में एकता और भाईचारा बनाए रखने का यह प्रयास आज देखने को मिला है. पूजा समिति के अध्यक्ष पप्पू गंटायत, अनवरन साहू, निरंजन साहू, मधु मंदांगी, वृषकेतु गंटायत, भवानी शंकर साहू, किरण साहू, दगंबर सिकोका, नारी नेत्री पुष्पलता दलीपति, समिति समित्रा सुमित्रा माझी, सलाहकार समिति चौबीस के मनोज महानकुड उपस्थित थे पहरेदार दिन-रात महानाम यज्ञ चलाते नजर आते हैं। रायगड़ा फास्ट न्यूज़ ओडिशा से संजय कुमार नाग की रिपोर्ट
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